दबाव में तड़पने लगी है जिंदगी

दबाव में तड़पने लगी है जिंदगी

दबाव में तड़पने लगी है जिंदगी  संजय तिवारी  तो क्या जिंदगी सच में दबाव  में तड़प रही है ? आखिर यह कैसा समय आ गया ? कौन सा दबाव है जिसको अब चोटी के आध्यात्मिक लोग भी नहीं सह पा रहे हैं...
अपने उपनिषदों पर गर्व कीजिये ,  व्यवस्था बनाइये

अपने उपनिषदों पर गर्व कीजिये , व्यवस्था बनाइये

अपने उपनिषदों पर गर्व कीजिये ,  व्यवस्था बनाइये संजय तिवारी उपनिषद् केवल  भारतीय जिज्ञासुओं के लिए ही अद्भुत नहीं हैं बल्कि  अनेक पाश्चात्य विद्वानों को भी उपनिषदों को...
ब्रह्म :पुरुषोत्तम

ब्रह्म :पुरुषोत्तम

ब्रह्म :पुरुषोत्तम संजय तिवारी  ॐ पूर्णमद: पूर्णमिदं पूर्णात् , पूर्ण मुदच्यते,पूर्णस्य पूर्णमादाय, पूर्ण मेवा वशिष्यते।ॐ शांति: शांति: शांतिःवह जो दिखाई नहीं देता है, वह अनंत और पूर्ण है।...